
281 मदरसे बिना मान्यता के चलते मिले
गोंडा। बिना मान्यता के चल रहे 281 मदरसों की सर्वे रिपोर्ट शासन को 15 नवंबर को भेजी जाएगी। मदरसों की मान्यता न होने की पुष्टि होने के बाद अब संसाधनों और आय के स्रोत की रिपोर्ट भी दी जानी है। इसकी रिपोर्ट एसडीएम स्तर से तैयार होगी, और 15 नवंबर को शासन को भेजी जानी है। मदरसों पर आगे की कार्रवाई शासन के आदेश पर होनी है।
जिले में 546 मदरसे मान्यता प्राप्त हैं। ग्रामीण क्षेत्रों में बड़ी संख्या में मदरसों का संचालन हो रहा है। इसमें बिना मान्यता के मदरसों के संचालन बड़े स्तर पर हो रहा है। 15 अक्तूबर तक हुए सर्वे में यह बात सामने आई कि 281 मदरसे बिना मान्यता के पढ़ाई करा रहे हैं। इसी बीच शासन ने सर्वे में और तथ्यों की जानकारी जुटाने की रिपोर्ट मांगी। साथ ही सर्वे 15 नवंबर तक बढ़ा दिया गया था, जिससे मदरसों के अन्य बिंदुओं की रिपोर्ट सामने आ सके।
मदरसों के संसाधनों की स्थिति
जिले में जो मान्यता प्राप्त मदरसे संचालित हैं, उसमें छह मदरसे ऐसे हैं जो पूरी तरह सरकारी अनुदान पाते हैं। यहां के शिक्षकों व कर्मचारियों को सरकारी कर्मचारियों की तरह वेतन व भत्ते मिलते हैं। वहीं, 338 मदरसों को वर्ष 2016 तक आधुनिकीकरण योजना से अनुदान दिया जाता रहा है।
मगर वर्ष 2016 से 2019 तक हुई जांच में 49 मदरसों के अनुदान पर रोक लगा दी गई। इन मदरसों की मान्यता बरकरार रही। अभी आधुनिकीकरण योजना से 289 मदरसे शामिल हैं। इसके अलावा 256 मदरसों को कोई अनुदान तो नहीं मिलता है, लेकिन मान्यता मिली है। अब तक की जांच में 281 मदरसे और मिले जो बिना मान्यता के ही चल रहे हैं। इनका रिकार्ड भी विभाग के पास नहीं था। अब जाकर रिपोर्ट विभाग ने जुटाया है।
तहसीलवार बनी सर्वे की रिपोर्ट समिति को देनी है
मदरसों के सर्वे के लिए तहसीलवार कमेटी गठित है। जिसमें संबंधित तहसील के उपजिलाधिकारी, बीएसए व जिला अल्पसंख्यक कल्याण अधिकारी शामिल होंगे। ये टीमें अपर जिलाधिकारी (प्रशासन) के निर्देशन में सर्वे कर जिलाधिकारी को रिपोर्ट देंगी और रिपोर्ट शासन को जाएगी। पहले मदरसों का सर्वे 15 अक्तूबर को पूरा करना था, जिसमें 281 मदरसों की रिपोर्ट दी गई है। सर्वे के दौरान मदरसों में पढ़ने वाले छात्र-छात्राओं व शिक्षकों की संख्या, मदरसों में लागू पाठ्यक्रम, मदरसे की आय का स्रोत, मदरसों के छात्र किसी अन्य विद्यालय में नामांकित हैं या नहीं, इसका विवरण भी जुटाया है। अब एक बार फिर सर्वे हो रहा है जो 15 नवंबर तक पूरा होगा।
मदरसों का कराया जा रहा सर्वे
शासन के आदेश पर मदरसों का सर्वे कराया जा रहा है। पूरी रिपोर्ट 15 नवंबर तक आ सकेगी। तहसीलों से रिपोर्ट आनी है, इसके बाद एडीएम की अध्यक्षता वाली समिति जिले स्तर पर रिपोर्ट को अंतिम रूप देगी। वहीं, रिपोर्ट 15 नवंबर को शासन को भेजी जानी है। गौरव स्वर्णकार, जिला अल्पसंख्यक कल्याण अधिकारी
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