
छुट्टा जानवरों के आतंक से कड़ाके की ठंडक में मच्चान बनाकर रहने को मजबूर।
बलरामपुर
जहां हाड कपाती ठंड में घर में दुबके रहते हैं लोग वहीं अन्दाता खेतों में मचान बना कर रात भर जागकर जान जोखिम में डाल कर छुट्टा जानवरों से अपने फसलों की करते हैं रखवाली ।
तहसील उतरौला क्षेत्र के भरथपुर ग्रिन्ट निवासी 70 वर्षीय सत्रोहन हाड कपाती ठंड में अपने खेत में मचान बनाकर रात भर जागकर अपने फसल की रखवाली करते हैं उनका कहना है कि रात को आग जलाकर बैठे रहते हैं अगर बिस्तर पर थोडी देर के लिए लेटे और नींद लग गयी तो पशुओं का झुंड आजाता है और फसलों को बर्बाद कर देता है । इसी प्रकार भरतपुर ग्रिन्ट व ऐलरा गांव के प्रकाश,हरी राम,जगराम,राम औतार,राधे श्याम, रतीराम, इटईरामपुर निवासी 75 वर्षीय नाथे पासवान का कहना है कि वह लोग भी मचान बनाकर रात भर जागकर खेत में फसल की रखवाली करते हैं उनका कहना है कि वह गरीब हैं उनके पास इतना पैसा नहीं है कि वह खेत में बाडा लगा सकें इस लिए मचान बनाकर खेत में रहते हैं और रखवाली करते हैं।
यही हाल उतरौला तहसील क्षेत्र के हजारों किसानों का है जो रात भर जागकर जान जोखिम में डालकर अपने फसलों को छुट्टा जानवरों से बचाते हैं ।रामपुर ग्रिन्ट निवासी साठ वर्षीय जब्बार भी मचान बनाकर अपने फसल की रखवाली करते हैं कभी कभी छुट्टा पशुओं का झुंड आजाता है पशु मारने के लिए दौडा लेते हैं तो बडी मुश्किल से भाग कर जान बचती है । सरकार द्वारा जगह जगह गौशाला तो बना दिया गया लेकिन जिम्मेदार अधिकारियों की लापरवाही के कारण पशुऔं को गौशाला में नहीं पहुंचाया जाता है। एडवोकेट विरेन्द्र सिन्हा ने भी किसानों की समस्या को देखते हुए समाधान दिवस में प्रार्थना पत्र देकर आरोप लगाया है कि गौ आश्रय केन्द्र के जिम्मेदार अधिकारियों के लापरवाही के कारण छुट्टा पशुऔं को गौ आश्रय केंन्द्र नहीं पहंचाया जाया जाता है जिसके कारण पशु सडक पर घूमते हैं और किसानों की फसल बर्बाद करते हैं।एसडीएम उतरौला सन्तोष कुमार ओझा ने बताया कि गौशाला में छुट्टा पशुओं को पहुंचाया जाता है यदि जिम्मेदार अधिकारियों की लापरवाही के कारण छुट्टा पशुऔं द्वारा किसानों का फसल नुकसान किया जाता है तो जांच कराकर जिम्मेदार के विरुद्ध कार्यवाही की जायेगी।
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