महात्मा गांधी काशी विद्यापीठ को नैक मूल्यांकन में बेहतर ग्रेडिंग का पूरा दारोमदार अब छात्र-छात्राओं के सकारात्मक जवाब पर ही निर्भर करेगा। 21 सवालों के जवाब ही विश्वविद्यालय की ग्रेडिंग में सुधार का मजबूत आधार बनेंगे। फीडबैक के बाद पीयर टीम के सर्वे के बाद नैक की ओर से विश्वविद्यालय को ग्रेडिंग प्रदान की जाएगी।
विश्वविद्यालय की ओर से नैक एक्रेडेशन व ग्रेडिंग के लिए 17 मार्च को एसएसआर सबमिट किया गया। 18 मार्च से ही नैक ने ऑनलाइन छात्र संतुष्टि सर्वे शुरू कर दिया है। विभागों द्वारा उपलब्ध कराई गई विद्यार्थियों की सूची एसएसआर में भेजी गई है। इसी सूची में से कुछ विद्यार्थियों का सैंपल सेलेक्शन करके उनसे 21 प्रश्नों वाला ऑनलाइन फार्म भरवाकर विश्वविद्यालय के टीचिंग-लर्निंग के बारे में छात्रों के विचार जानने के लिए प्रक्रिया शुरू हो गई है।
विश्वविद्यालय के उच्च नैक ग्रेड हासिल करने में छात्र-छात्राओं के सकारात्मक फीडबैक महत्वपूर्ण हैं। आईक्यूएसी के निदेशक प्रो. एमएम वर्मा ने बताया कि सकारात्मक फीडबैक से नैक की ग्रेडिंग हासिल करने में काफी मदद मिलेगी। इसके बाद पीयर टीम निरीक्षण के लिए विश्वविद्यालय आएगी। ढाई साल की मेहनत के बाद नैक की ग्रेडिंग के लिए एसएसआर सबमिट किया गया है।
ये हैं सवाल
छात्रों से ऑनलाइन 21 सवाल पूछे गए हैं। इसमें कक्षा में कितना पाठ्यक्रम कवर किया गया? शिक्षक संवाद करने में कितने सक्षम हैं? आपका विश्वविद्यालय आपको सीखने और बढ़ने के लिए अनेक अवसर प्रदान करता है? आदि को शामिल किया गया है।
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